वाराणसी में रोड रेज की सनसनीखेज घटना, ब्लॉक प्रमुख के बेटे ने युवक की बाइक को फॉर्च्यूनर से 700 मीटर घसीटा, कार सीज।
वाराणसी की सड़कों पर खौफ का मंजर, एक झटके में बदल गया ट्रैफिक विवाद दहशत में
उत्तर प्रदेश के पवित्र शहर वाराणसी में शनिवार की शाम उस समय अफरा-तफरी मच गई, जब एक मामूली सड़क विवाद ने ऐसा खतरनाक रूप ले लिया कि राह चलते लोग अपनी आंखों पर यकीन नहीं कर पाए। कैंट थाना क्षेत्र में एक फॉर्च्यूनर कार ने बाइक को अपने अगले हिस्से में फंसाया और फिर उसे करीब 700 मीटर तक सड़क पर घसीटते हुए ले गई। यह पूरा घटनाक्रम सरेआम हुआ और देखते ही देखते सड़क पर चीख-पुकार, भगदड़ और गुस्से से भरी भीड़ इकट्ठा हो गई।
यूपी कॉलेज गेट के सामने टक्कर, कुछ ही मिनटों में बिगड़ गए हालात
जानकारी के मुताबिक यह घटना शनिवार शाम करीब चार बजे की है, जब यूपी कॉलेज गेट के सामने ट्रैफिक अपेक्षाकृत सामान्य था। इसी दौरान चंदौली जिले के धानापुर ब्लॉक के ब्लॉक प्रमुख अजय सिंह ‘खलनायक’ के बेटे की फॉर्च्यूनर कार की टक्कर चौबेपुर थाना क्षेत्र के छितौनी गांव निवासी आशुतोष सिंह की हीरो स्ट्रीम बाइक से हो गई। टक्कर के बाद दोनों पक्ष सड़क पर उतर आए और पहले कहासुनी, फिर तीखी बहस शुरू हो गई। आसपास मौजूद लोग समझ ही नहीं पाए कि यह मामूली नोकझोंक कुछ ही पलों में खौफनाक मंजर में बदलने वाली है।
फॉर्च्यूनर में फंसी बाइक, सड़क पर घसीटते हुए निकल पड़ा दबंग चालक
प्रत्यक्षदर्शियों का कहना है कि विवाद के दौरान अचानक बाइक फॉर्च्यूनर के अगले हिस्से में फंस गई। इसके बावजूद चालक ने गाड़ी रोकने की बजाय एक्सीलेटर दबा दिया। बाइक सड़क पर घिसटती हुई चिंगारियां छोड़ने लगी और कार महावीर मंदिर क्षेत्र से अर्दली बाजार की ओर बढ़ती चली गई। करीब आधा किलोमीटर से ज्यादा दूरी तक यह खौफनाक दृश्य चलता रहा। ठंड के मौसम में भी इस मंजर को देखकर लोगों के रोंगटे खड़े हो गए और सड़क पर चल रहे वाहन चालक घबराकर इधर-उधर रुकने लगे।
700 मीटर तक बाइक घसीटे जाने से मचा हड़कंप, सड़क पर जमा हुई भीड़
जैसे-जैसे फॉर्च्यूनर आगे बढ़ती गई, वैसे-वैसे पीछे बाइक को घसीटते हुए देख लोगों में गुस्सा और डर दोनों बढ़ता चला गया। कुछ लोग अपनी गाड़ियां रोककर पीछे दौड़े, तो कुछ ने शोर मचाकर आसपास के लोगों को बुलाना शुरू कर दिया। देखते ही देखते सैकड़ों लोग सड़क किनारे जमा हो गए। कई लोगों ने अपने मोबाइल फोन से वीडियो बनाना शुरू कर दिया, जो बाद में सोशल मीडिया पर चर्चा का विषय बन गया।
भीड़ ने रोकी फॉर्च्यूनर, पिटाई होने ही वाली थी कि पहुंच गई पुलिस
अर्दली बाजार के पास आखिरकार गुस्साई भीड़ ने किसी तरह फॉर्च्यूनर को घेरकर रोक लिया। बाइक पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो चुकी थी और सड़क पर उसके पुर्जे बिखरे पड़े थे। भीड़ का गुस्सा इस कदर था कि लोग कार चालक को बाहर खींचकर मारपीट करने ही वाले थे। इसी बीच किसी ने पुलिस को सूचना दे दी और कैंट थाने की पुलिस मौके पर पहुंच गई। पुलिस ने स्थिति की गंभीरता को देखते हुए तुरंत बीच-बचाव किया और भीड़ को शांत कराया, वरना मामला बड़ी हिंसा में बदल सकता था।
क्रेन मंगवाकर हटाए गए वाहन, थाने ले जाया गया मामला
कैंट थाना पुलिस ने पुलिस लाइन से क्रेन मंगवाकर फॉर्च्यूनर और क्षतिग्रस्त बाइक को सड़क से हटवाया। दोनों वाहनों को थाने ले जाया गया, ताकि यातायात सामान्य किया जा सके। इस दौरान सड़क पर भारी जाम की स्थिति बन गई थी, जिससे राहगीरों और वाहन चालकों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ा। पुलिस ने दोनों पक्षों को भी थाने बुलाया और पूरे मामले की जानकारी जुटाई।
इंस्पेक्टर शिवाकांत मिश्रा ने क्या बताया?
कैंट इंस्पेक्टर शिवाकांत मिश्रा ने मीडिया से बातचीत में बताया कि सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची और हालात को काबू में लिया गया। उनके अनुसार, दोनों युवक छात्र हैं और इस घटना में किसी को शारीरिक चोट नहीं आई है। पुलिस ने दोनों पक्षों और उनके परिजनों से बातचीत कर पूरे घटनाक्रम की जानकारी ली। इंस्पेक्टर ने बताया कि परिजनों के बीच आपसी समझौते के बाद सुलह हो गई, जिसके चलते इस मामले में एफआईआर दर्ज नहीं की गई।
एफआईआर नहीं, लेकिन पुलिस ने दिखाई सख्ती, फॉर्च्यूनर सीज
हालांकि पुलिस ने यह स्पष्ट किया कि समझौता होने के बावजूद कानून व्यवस्था से खिलवाड़ को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता। इसी कारण फॉर्च्यूनर कार को सीज कर दिया गया है। बाइक और कार दोनों फिलहाल कैंट थाने में खड़ी हैं। पुलिस का कहना है कि इस तरह की लापरवाही और सड़क पर दूसरों की जान खतरे में डालने वाले कृत्य को हल्के में नहीं लिया जा सकता।
वीडियो और प्रत्यक्षदर्शियों के बयान बने चर्चा का विषय
घटना के दौरान बनाए गए वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहे हैं। वीडियो में साफ देखा जा सकता है कि किस तरह बाइक सड़क पर घिसटती जा रही है और पीछे लोग शोर मचाते हुए दौड़ रहे हैं। प्रत्यक्षदर्शियों का कहना है कि अगर वक्त रहते भीड़ ने कार नहीं रोकी होती, तो बड़ा हादसा हो सकता था। कई लोगों ने सवाल उठाए कि रसूखदारों के बेटे इस तरह खुलेआम कानून को चुनौती कैसे दे रहे हैं।
रोड रेज और दबंगई पर फिर उठे सवाल
इस घटना ने एक बार फिर सड़क सुरक्षा और रोड रेज की बढ़ती घटनाओं पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। वाराणसी जैसे व्यस्त और ऐतिहासिक शहर में इस तरह की घटना ने आम लोगों में डर का माहौल पैदा कर दिया है। स्थानीय लोगों का कहना है कि अगर ऐसी घटनाओं पर सख्त कार्रवाई नहीं हुई, तो सड़क पर चलना आम नागरिकों के लिए और भी खतरनाक हो जाएगा।
वाराणसी में पहले भी सामने आ चुकी हैं ऐसी घटनाएं
यह पहली बार नहीं है जब वाराणसी में रसूखदारों से जुड़ी सड़क विवाद की घटनाएं सामने आई हों। इससे पहले भी शहर के अलग-अलग इलाकों में तेज रफ्तार गाड़ियों, दबंग ड्राइविंग और सड़क पर मारपीट के मामले सामने आते रहे हैं। हर बार कुछ दिन चर्चा के बाद मामला ठंडा पड़ जाता है, लेकिन आम लोगों के मन में डर बना रहता है।
सड़क सुरक्षा को लेकर प्रशासन पर बढ़ा दबाव
इस सनसनीखेज मामले के बाद स्थानीय प्रशासन पर भी दबाव बढ़ गया है कि वह सड़क सुरक्षा को लेकर ठोस कदम उठाए। लोगों की मांग है कि वीआईपी और रसूखदार परिवारों के लोगों के खिलाफ भी बिना भेदभाव के कार्रवाई होनी चाहिए, ताकि कानून का डर बना रहे और ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो।
डर, गुस्सा और सवालों के बीच थमी वाराणसी की शाम
शनिवार की यह घटना वाराणसी के लोगों के लिए लंबे समय तक याद रहने वाली बन गई। शाम होते-होते सड़क पर जो डर और अफरा-तफरी फैली, उसने यह सोचने पर मजबूर कर दिया कि एक पल की दबंगई कैसे कई जिंदगियों को खतरे में डाल सकती है। फिलहाल मामला शांत जरूर हो गया है, लेकिन यह घटना प्रशासन, पुलिस और समाज सभी के लिए एक चेतावनी बनकर सामने आई है।


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