देवास में अतिक्रमण हटाने पहुंचा प्रशासन, पलभर में मचा कोहराम; दंपति ने पेट्रोल डालकर लगाई आग, भीड़ ने पुलिस पर किया पथराव



देवास के सतवास में अतिक्रमण हटाने के दौरान दंपति ने आत्मदाह की कोशिश की, हिंसा भड़की, पुलिस पर पथराव, प्रशासनिक कार्रवाई तेज

देवास के सतवास में प्रशासनिक कार्रवाई बनी आग का गोला

मध्य प्रदेश के देवास जिले के सतवास नगर में बुधवार दोपहर वह दृश्य सामने आया जिसने पूरे प्रशासनिक तंत्र को झकझोर कर रख दिया। सार्वजनिक नाली से अतिक्रमण हटाने पहुंची नगर परिषद, पुलिस और राजस्व विभाग की संयुक्त टीम को उस वक्त पीछे हटना पड़ा जब कार्रवाई का विरोध कर रहे एक दंपति ने खुद पर पेट्रोल डालकर आग लगा ली। इस सनसनीखेज कदम से मौके पर अफरा-तफरी मच गई और कुछ ही मिनटों में हालात पूरी तरह बेकाबू हो गए। झुलसे दंपति को गंभीर हालत में पहले सतवास और फिर इंदौर रेफर किया गया, जबकि गुस्साई भीड़ ने प्रशासनिक अमले पर पथराव शुरू कर दिया।

अतिक्रमण हटाने पहुंचा अमला, विरोध से बढ़ा तनाव

बुधवार को सतवास नगर के वार्ड क्रमांक 5 में उस समय तनाव की स्थिति बन गई जब प्रभारी तहसीलदार अरविंद दिवाकर नगर परिषद और पुलिस बल के साथ सार्वजनिक नाली पर किए गए अतिक्रमण को हटाने पहुंचे। प्रशासन के मुताबिक यह कार्रवाई पहले से दर्ज शिकायत और निरीक्षण के बाद की जा रही थी। जैसे ही जेसीबी मशीन से अतिक्रमण हटाने की प्रक्रिया शुरू हुई, वहां रहने वाले संतोष व्यास और उनकी पत्नी जयश्री व्यास ने कार्रवाई का तीखा विरोध शुरू कर दिया। अधिकारियों और दंपति के बीच कहासुनी बढ़ती चली गई और माहौल तनावपूर्ण हो गया।

पलभर में बदला हालात का रुख, दंपति ने लगाई आग

विवाद उस समय चरम पर पहुंच गया जब विरोध कर रहे दंपति ने अचानक अपने ऊपर पेट्रोल उड़ेल लिया और आग लगा ली। यह दृश्य देखकर मौके पर मौजूद लोग स्तब्ध रह गए। आग की लपटों में घिरे दंपति को बचाने के लिए आसपास मौजूद लोगों और कर्मचारियों ने किसी तरह आग बुझाई। दोनों बुरी तरह झुलस चुके थे। आनन-फानन में उन्हें सतवास के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पहुंचाया गया, जहां प्राथमिक उपचार के बाद हालत गंभीर देखते हुए इंदौर रेफर कर दिया गया।

आत्मदाह की कोशिश की खबर फैलते ही भड़की भीड़

जैसे ही आत्मदाह के प्रयास की खबर आसपास के इलाकों में फैली, मौके पर बड़ी संख्या में लोग जमा हो गए। गुस्साए नागरिकों का आरोप था कि प्रशासन ने बिना मानवीय संवेदना के कार्रवाई की। देखते ही देखते आक्रोश हिंसा में बदल गया। भीड़ ने नगर परिषद की जेसीबी मशीन पर पत्थर फेंकने शुरू कर दिए। हालात इतने बिगड़ गए कि प्रभारी तहसीलदार, नगर परिषद के कर्मचारी और पुलिस बल को अपनी जान बचाकर पीछे हटना पड़ा।

पथराव और हंगामे से थर्राया सतवास

पथराव की वजह से मौके पर भगदड़ जैसी स्थिति बन गई। कुछ देर के लिए सतवास का मुख्य इलाका पूरी तरह ठप हो गया। दुकानों के शटर गिर गए और लोग अपने घरों में दुबक गए। हिंसा की आशंका को देखते हुए अतिरिक्त पुलिस बल को बुलाया गया। प्रशासन को स्थिति संभालने में काफी मशक्कत करनी पड़ी।

थाने का घेराव और चक्काजाम, यातायात प्रभावित

घटना के बाद गुस्साए लोगों ने दोषियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की मांग को लेकर सतवास थाने का घेराव कर लिया। कुछ समय के लिए चक्काजाम भी किया गया, जिससे मुख्य सड़कों पर वाहनों की लंबी कतारें लग गईं। यातायात पूरी तरह बाधित हो गया। पुलिस अधिकारियों ने मौके पर पहुंचकर लोगों को समझाइश दी और हालात को शांत करने की कोशिश की।

सार्वजनिक नाली पर अतिक्रमण बना विवाद की जड़

प्रशासनिक सूत्रों के अनुसार वार्ड क्रमांक 5 निवासी मोहनदास बैरागी ने तहसील कार्यालय में शिकायत दर्ज कराई थी कि उनके पड़ोसी संतोष व्यास ने सार्वजनिक नाली पर अतिक्रमण कर मकान बना लिया है। इससे नाली जाम हो गई थी और पानी की निकासी बाधित हो रही थी। बरसात के मौसम में इस कारण पूरे इलाके में जलभराव की समस्या पैदा हो रही थी। शिकायत के बाद तहसीलदार ने मंगलवार को मौके का निरीक्षण किया था, जहां पहले से ही विवाद की स्थिति बनी हुई थी।

निरीक्षण के बाद तय हुई कार्रवाई, लेकिन हालात हुए बेकाबू

निरीक्षण के बाद बुधवार को अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई तय की गई थी। प्रशासन का दावा है कि दंपति को पहले ही सूचना दी गई थी और समझाइश भी दी गई थी। लेकिन मौके पर पहुंचते ही विरोध तेज हो गया और हालात नियंत्रण से बाहर चले गए। आत्मदाह की कोशिश ने पूरे घटनाक्रम को और गंभीर बना दिया।

कलेक्टर का बड़ा एक्शन, तहसीलदार हटाए गए

पूरे मामले को गंभीरता से लेते हुए देवास कलेक्टर ऋतुराज सिंह ने तत्काल कार्रवाई की। उन्होंने सतवास के प्रभारी तहसीलदार अरविंद दिवाकर को उनके पद से हटा दिया और हरिओम ठाकुर को नया प्रभारी तहसीलदार नियुक्त किया। कलेक्टर ने स्पष्ट कहा कि प्रशासनिक कार्रवाई के दौरान किसी भी तरह की लापरवाही या असंवेदनशीलता बर्दाश्त नहीं की जाएगी।

जांच के आदेश, प्रशासन ने मांगी रिपोर्ट

कलेक्टर ने पूरे घटनाक्रम की विस्तृत जांच के आदेश दे दिए हैं। राजस्व, पुलिस और नगर परिषद से अलग-अलग रिपोर्ट मांगी गई है। यह भी जांच की जाएगी कि कार्रवाई से पहले सभी कानूनी प्रक्रियाओं का पालन किया गया था या नहीं और हालात बिगड़ने के लिए कौन जिम्मेदार है।

इंदौर में चल रहा झुलसे दंपति का इलाज

आत्मदाह की कोशिश में झुलसे संतोष व्यास और उनकी पत्नी जयश्री व्यास का इंदौर के अस्पताल में इलाज जारी है। डॉक्टरों के अनुसार दोनों की हालत गंभीर बनी हुई है और उन्हें आईसीयू में रखा गया है। प्रशासन ने अस्पताल में सुरक्षा व्यवस्था बढ़ा दी है ताकि किसी तरह का अप्रिय माहौल न बने।

कानून व्यवस्था पर उठे सवाल

इस घटना ने एक बार फिर अतिक्रमण हटाने की कार्रवाइयों के दौरान कानून व्यवस्था और मानवीय पहलुओं पर सवाल खड़े कर दिए हैं। स्थानीय लोगों का कहना है कि प्रशासन को वैकल्पिक व्यवस्था और संवाद के जरिए समस्या का समाधान निकालना चाहिए था। वहीं प्रशासन का पक्ष है कि सार्वजनिक संपत्ति पर अतिक्रमण हटाना उनकी जिम्मेदारी है।

शांति की अपील, तनावपूर्ण लेकिन नियंत्रित हालात

घटना के बाद सतवास में हालात तनावपूर्ण जरूर हैं लेकिन नियंत्रण में बताए जा रहे हैं। पुलिस और प्रशासन लगातार इलाके में गश्त कर रहे हैं। अधिकारियों ने लोगों से शांति बनाए रखने और अफवाहों से दूर रहने की अपील की है। जांच पूरी होने के बाद दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई का भरोसा दिलाया गया है।

देवास के सतवास में हुई यह घटना न सिर्फ प्रशासनिक कार्रवाई की संवेदनशीलता पर सवाल खड़े करती है, बल्कि यह भी दिखाती है कि जमीन और अतिक्रमण से जुड़े विवाद किस कदर भयावह रूप ले सकते हैं। आने वाले दिनों में जांच के नतीजे यह तय करेंगे कि इस पूरे घटनाक्रम की जिम्मेदारी आखिर किस पर तय होती है।

एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ