रायसेन मेले में विशाल झूला अचानक एक तरफ झुक गया। लोग हवा में लटक गए, चीख-पुकार मच गई। गनीमत रही कि सभी सुरक्षित बच निकले।
रायसेन मेले में झूले का हादसा, बाल-बाल बचे लोग
मध्य प्रदेश के रायसेन जिले से नवरात्रि के अवसर पर एक भयावह हादसा होते-होते टल गया। जिले में आयोजित मेले में लगा विशाल झूला अचानक चलते-चलते टूटकर एक तरफ झुक गया। इस दौरान झूले में बड़ी संख्या में महिलाएं, बच्चे और युवक सवार थे, जो हवा में लटक गए। अचानक हुए इस घटनाक्रम ने मेले में मौजूद हर शख्स को डरा दिया और वहां चीख-पुकार मच गई। हालांकि गनीमत रही कि सभी लोग सुरक्षित बाहर निकाल लिए गए और किसी को खरोंच तक नहीं आई।
हादसे का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल
इस हादसे का वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है। वीडियो में साफ देखा जा सकता है कि झूला चलते-चलते अचानक एक तरफ झुक गया और उसमें बैठे लोग असंतुलित होकर डर से चीखने लगे। यह वीडियो इतना भयावह है कि देखने वालों की भी रूह कांप जाए। लोग इस वीडियो पर प्रशासन की लापरवाही पर सवाल उठा रहे हैं और इसे सुरक्षा व्यवस्था की खुली पोल बता रहे हैं।
कहां हुआ हादसा
जानकारी के अनुसार यह हादसा रायसेन जिला मुख्यालय से करीब 18 किलोमीटर दूर सागर रोड पर स्थित सुप्रसिद्ध खंडेरा वाली माता मंदिर परिसर में लगा मेले में हुआ। यह मेला हर साल नवरात्रि के दौरान आयोजित किया जाता है और हजारों श्रद्धालु दर्शन करने यहां आते हैं। शनिवार दोपहर करीब तीन बजे यह झूला अचानक एक तरफ झुक गया। इस दौरान झूले में बैठी महिलाएं और बच्चे जोर-जोर से मदद के लिए चिल्लाने लगे।
पुलिस और स्थानीय लोगों की तत्परता से बची जानें
मौके पर मौजूद पुलिस बल और स्थानीय लोगों ने बिना समय गंवाए तुरंत बचाव कार्य शुरू किया। नकतरा चौकी से पहुंचे पुलिसकर्मी और मेले में मौजूद लोग झूले पर चढ़े और सवारियों को एक-एक करके सुरक्षित नीचे उतारा। पुलिस ने पुष्टि की है कि झूले में बैठे सभी लोग सही-सलामत हैं और किसी को भी चोट नहीं लगी है। इस तरह से एक बड़ा हादसा टल गया।
झूले की तकनीकी खराबी बनी हादसे की वजह
देवनगर थाना प्रभारी हरिओम अस्ताया ने बताया कि झूला पैरों से चलने वाला झूला था। इसमें एक कुंदा टूट गया था जिसकी वजह से झूला अचानक एक तरफ झुक गया। उन्होंने कहा कि हादसा देखने में बेहद खतरनाक था लेकिन सौभाग्य से इसमें बैठे लोग सुरक्षित निकल आए। फिलहाल झूले को बंद कर दिया गया है और उसकी जांच की जा रही है।
प्रशासन पर उठे सवाल
इस हादसे के बाद जिला प्रशासन और पुलिस की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े हो गए हैं। श्रद्धालुओं का कहना है कि मेले में सुरक्षा की उचित व्यवस्था नहीं की गई थी और झूलों की तकनीकी जांच पहले से नहीं की गई। सवाल यह है कि हजारों लोगों के बीच लगने वाले इस मेले में बच्चों और महिलाओं की सुरक्षा को लेकर इतनी बड़ी चूक कैसे हो गई।
खंडेरा वाली माता मंदिर में उमड़ा भक्तों का सैलाब
नवरात्रि के अवसर पर खंडेरा वाली माता मंदिर में दूर-दराज से श्रद्धालु दर्शन के लिए आते हैं। यहां मेले का आयोजन किया जाता है जिसमें खाने-पीने के साथ-साथ झूले और अन्य झूला झूलने की व्यवस्थाएं रहती हैं। शनिवार को भी यहां बड़ी संख्या में लोग मौजूद थे। इसी बीच जब झूला अचानक झुक गया तो भगदड़ जैसी स्थिति बनने लगी। हालांकि, मौके पर मौजूद पुलिस बल और स्थानीय लोगों ने संयम से काम लिया और स्थिति को काबू में किया।
हादसे से लोगों में फैली दहशत
झूले में बैठे लोगों ने जब खुद को अधर में लटका पाया तो डर के मारे जोर-जोर से चीखने लगे। महिलाएं और बच्चे रोने लगे। वहां मौजूद परिजनों और अन्य लोगों की सांसें अटक गईं। वीडियो में साफ दिखाई दे रहा है कि किस तरह झूला एक तरफ झुककर हवा में लटक गया और लोग भयभीत होकर मदद की गुहार लगा रहे थे। इस घटना ने हर किसी को विचलित कर दिया।
आगे की जांच और जिम्मेदारी तय करने की मांग
इस हादसे के बाद लोगों ने मांग की है कि जिला प्रशासन इस घटना की गंभीर जांच कराए और मेले में लगाए गए सभी झूलों व झूलों की सुरक्षा मानकों की जांच करे। साथ ही लापरवाही बरतने वाले अफसरों और आयोजकों पर भी कार्रवाई की मांग उठ रही है। श्रद्धालुओं का कहना है कि यह तो सौभाग्य था कि हादसे में किसी की जान नहीं गई, लेकिन आने वाले समय में इस तरह की लापरवाही बहुत भारी पड़ सकती है।
नवरात्रि के दौरान सुरक्षा इंतजामों की अहमियत
नवरात्रि जैसे बड़े धार्मिक आयोजनों में हजारों की भीड़ एक जगह पर इकट्ठा होती है। ऐसे में प्रशासन और आयोजकों की जिम्मेदारी और बढ़ जाती है। लोगों का कहना है कि सुरक्षा इंतजाम चाक-चौबंद होने चाहिए थे और झूलों की तकनीकी जांच अनिवार्य होनी चाहिए थी। रायसेन का यह हादसा इस बात की याद दिलाता है कि थोड़ी सी लापरवाही कितनी बड़ी त्रासदी का कारण बन सकती है।


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