प्रबुद्ध की मतदान के प्रति उदासीनता को लोग बेंच रहे हैं _ जगदीश चन्द्र सक्सेना



बरेली से संवाददाता डॉक्टर मुदित प्रताप सिंह की रिपोर्ट

जनपद बरेली _ स्थानीय निकायों के प्रथम चरण के मतदान का अल्प प्रतिशत क्षुब्ध कर रहा है। अगर कोई सर्वे हो तो मतदान न करने वाले अधिकांश कथित प्रबुद्ध जन होंगे। जाति, धर्म , रोजगार,क्षेत्रीयता, समाजसेवी संगठनों के नाम पर मेयर, चेयरमैन प्रत्याशियों को कुछ लोग अपने को वर्ग विशेष का प्रभावशाली प्रतिनिधि बता कर अपने वर्ग का लिखित व मौखिक समर्थन दे रहे हैं। जबकि उनके कहने से उनके परिवार वाले भी वोट नहीं देते हैं। इन लोगों का समर्थन सोशल मीडिया व समाचार पत्रों में प्रकाशित कराकर प्रत्याशी भी अभिभूत हैं। ऐसे लोगों में से कुछ लोग प्रत्याशी कार्यालयों में उन्हें जिताने का दावा करते मिल सकते हैं। क्योंकि प्रबुद्ध मतदान नहीं करते अताः परिणाम आने के बाद भी इनके दावे को प्रत्याशी सत्य मान लेते हैं। इन लोगों का तत्कालिक या दूरदर्शी स्वार्थ पूरा होता है। जीता प्रत्याशी इनके ही काम प्रार्थमिकता से करता है और जनहित के कार्य द्वितीय स्थान पर रह जाते हैं।
प्रबुद्ध जन समझ ही नहीं पाते उनके बोट को तो उनके वर्ग का कथित नेता बेंच चुका है। और प्रबुद्ध जन की मलाई का सेवन वह करेगा। 

मान्यता प्राप्त शिक्षण संसथाओं के संगठन बेसिक शिक्षा समिति उत्तर प्रदेश के प्रदेशाध्यक्ष व कायस्थ चित्रगुप्त महासभा उत्तर प्रदेश के प्रदेश उपाध्यक्ष जगदीश चन्द्र सक्सेना ने प्रबुद्ध जनों से शतप्रतिशत मतदान की अपील करते हुए कहा कि वे सिद्ध करें कि उन्हें कोई बेंच नहीं सकता इससे सबसे बड़ा लाभ यह होगा कि जीता प्रत्याशी ईमानदारी से जन हित के कार्य करने को मजबूर होगा।





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