मानक के विपरीत खुल रहे है विद्यालय,अयोग्य अध्यापकों से हो रहा पठन - पाठन का कार्य
प्रशासन के नाक के नीचे बच्चो के भविष्य से खिलवाड़ कर रहे है शिक्षा माफिया......
रिपोर्ट...इंद्रेश तिवारी
मछली शहर(जौनपुर).......पूर्व प्रधानमंत्री प.जवाहरलाल नेहरू जी ने कहा था कि आज के बच्चे कल देश के भविष्य होते है।परंतु मछली शहर क्षेत्र में आज के बच्चों के साथ शिक्षा माफिया व शिक्षा के हुक्मरानों के मिली भगत से खेला हो रहा है।स्थानीय क्षेत्र में बड़ी -बड़ी बिल्डिंग खड़ी कर शिक्षा माफिया बच्चों के भविष्य से खिलवाड़ करने को आमादा है।हद तो यह है कि यह सब खेल स्थानीय प्रशासन के नाक के नीचे खेला जा रहा है।लोगो के लिए अपने काले धन को सफेद करने का सही तरीका केवल विद्यालय बनाकर लोगों को गुमराह करना हो गया है।मछली शहर क्षेत्र में कई ऐसी निजी विद्यालयों की भरमार है जहां अयोग्य शिक्षकों से मानक के विपरीत पठन -पाठन का कार्य किया जा रहा है।अभिभावक भी उनके प्रभाव में आकर अपने बच्चों को अच्छी शिक्षा के नाम पर दाखिला दिलाने को मजबूर है।निजी विद्यालयों में फीस अथवा टर्म फीस,ड्रेस सहित विभिन्न शुल्क से अभिभावक परेशान है।नाम ना छापने की शर्त पर क्षेत्र के विभिन्न अभिभावकों का कहना है कि जब प्रशासन ऐसे विद्यालयों को मान्यता दे देती है तो अभिभावक भी उस तंत्र पर विश्वास कर अपने बच्चे को निजी विद्यालयों में दाखिला दिला देते है।परंतु मानक के विपरीत हो रहे कार्यों की गुणवत्ता की जांच परख करना संबंधित अधिकारियों की भी जिम्मेदारी बनती है।अपने विश्वस्त सूत्रों की माने तो धन के प्रभाव में आकर संबंधित अधिकारी भी मानक की जांच परख किए बिना ही मान्यता दे देते है।
अभिभावक अपने बच्चों के उज्ज्वल भविष्य के लिए हमेशा चिंतित रहते है,इसी कारण धन पशुओं के बिछाए जाल में फंस जा रहे है।परंतु उन्हें बचाने के लिए कोई भी सरकारी तंत्र सक्रिय नहीं है।
ऐसे क्षेत्र में कई विद्यालय है जो काले धन को शिक्षा के नाम पर सफेद चादर से ढके हुए है।अगर प्रशासन सक्रिय हो जाए तो इसकी कलई परत दर परत खुलती जाएगी।अब यह बात दीगर रहेगी कि शिक्षा माफियाओं के इस जाल से आम जनता को निकालने के लिए सरकार कुछ कदम उठाएगी अथवा आंखे मूंद कर इस खेल का हिस्सा बनी रहेगी।
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